बपतिस्मा क्यों लेना चाहिए?

Is baptism necessary to go to heaven?

बपतिस्मा संस्कार के द्वारा एक व्यक्ति को प्रभु येसु की मृत्यु, दफ़न और पुनरुत्थान के सहभागी बनाया जाता है |

“क्या आप लोग यह नहीं जानते कि ईसा मसीह का तो बपतिस्मा हम सबों को मिला है, वह उनकी मृत्यु का बपतिस्मा हैं? हम उनकी मृत्यु का बपतिस्मा ग्रहण कर उनके साथ इसलिए दफनाये गये हैं कि जिस तरह मसीह पिता के सामर्थ्य से मृतकों में से जी उठे हैं, उसी तरह हम भी एक नया जीवन जीयें।”

(रोमियों के नाम सन्त पौलुस का पत्र 6:3-4)

इसलिए बपतिस्मा संस्कार के द्वारा ही साधारण रूप से मनुष्य को मुक्ति मिल सकती है | जो जानबूझ कर इसे ठुकराते हैं, वे ईश्वरीय मुक्ति-योजना को ठुकरा रहे हैं और मृत्यु को अपना रहे हैं |

पवित्र बाइबिल के अनुसार मृत्यु का अर्थ है ईश्वर से अलग होना; क्योंकि ईश्वर ही जीवन है |

तीन प्रकार के बपतिस्मा

  • जल (का) बपतिस्मा – Baptism of Water
  • इच्छा (का) बपतिस्मा – Baptism of Desire
  • रक्त का बपतिस्मा – Baptism of Blood

बपतिस्मा संस्कार की अनिवार्यता को जानने पूरे वीडियो को देखिये |